विशेष सवांददाता सारिका
आइए आपको मिलाते हैं,एक ऐसी लेखिका से जो की हिमाचल में अपनी एक अलग पहचान बना चुकी है। जिसको सभी लोग काव्य वर्षा के नाम से जानते हैं काव्या वर्षा एक ऐसा नाम हैं, जो किसी सहारे की मोहताज नही है। एक ऐसी बेटी जिसने दुनिया को दिखा दिया भगवान भी अगर इंसान में कोई कमी रख देता है ।
तो अगर हम चाहे तो उसे अपनी मेहनत से पूरा कर सकते है।बिना पढ़ाई के और बिना किसी की सहायता के अपनी सूझबूझ से आम आदमी को सोचने पर मजबूर करने बाली काव्य बर्षा ने दुनिया को दिखा दिया कि कुछ भी नामुमकिन नही है। जिस तरह से काव्या बर्षा ने एक उंगली के सहारे ही अपना नाम सुनहरे अक्षरों में लिख दिया ।लोग उनको उनकी कविताओं से उनकी कहानियां से और उनकी पुस्तक से उन्हें पहचानते हैं।
काव्या का मानना है। कि उन्होंने अपने कार्यों को पूरा करने एवं अपने लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए अपने परिवार की कोई सहायता नहीं ली है। वह जो भी अपने जीवन में कर रही है वह सब अपने बलबूते पर कर रही है काव्या वर्षा की किताब आज पूरे हिमाचल में छा रही है। शरीर से अधूरा होने के बावजूद भी खुद को कभी अधूरा नहीं समझा। काव्या वर्षा का एक संदेश जो सभी के लिए है। आप लोगों के पास भगवान का दिया हुआ शरीर है एजुकेशन है आप इन चीजों का सही इस्तेमाल करें ।
सही सोच बनाएं और दुनिया और समाज को अपनी सोच से एक नई दिशा दें। काव्य बर्षा की कहानियां और कविताएं सभी समाज की सच्चाई के ऊपर आधारित हैं। इसलिए अपने घर पर बैठी दुनिया की सोच को बदलने का जज्बा रखती है। उस बेटी की सोच को बिटिया फाउंडेशन सलाम करती है ।उसकी हिम्मत और जज्बे को देखकर बिटिया फाउंडेशन ने काव्या बर्षा को ब्रांड ambnsder बनाया ताकि हिंदुस्तान की बेटियां काव्या वर्षा को देखकर कुछ तो सीख ले ।कि हम ज़िंदगी में कुछ भी करने से पहले एक बार जरूर सोचें । वर्षा को बिटिया फाउंडेशन राष्ट्रीय संस्था का सलाम।
नारी शक्ति राष्ट्रिय शक्ति।
बेटी नहीं है भार ।बेटी तो हैं जीवन का आधार।सोच बदलो कदम बढाओ। करो उसे स्वीकार ।।❤️❤️❤️❤️❤️